मूल-निवास और सशक्त भू-कानून समर्थकों ने ऋृषिकेश में भरी हुंकार : भारी संख्या में पहुंचे लोग
राज्य आन्दोलन के बाद पहली बार आयोजित हुयी बड़ी रैली
-त्रिलोक चन्द्र भट्ट
ऋृषिकेश : उत्तराखंड में मूल निवास और सशक्त भू-कानून समर्थकों ने योग नगरी ऋृषिकेश में हुंकार भरी। आईडीपीए से त्रिवेणीघाट, ऋृषिकेश तक निकाली गयी स्वाभिमान रैली त्रिवेणी घाट पहुंच कर सभा में परिवर्तित हो गयी। करीब 29 साल पहले उत्तराखण्ड राज्य आन्दोलन के दौर के बाद शहर में निकली यह पहली बड़ी रैली थी, जिसमें भारी तादात में लोग जुटे।
रैली का नेतृत्व कर रहे मूल निवासए भू-कानून समन्वय संघर्ष समिति संयोजक मोहित डिमरी लुशून टोडरिया ने उत्तराखण्ड के लोगों के हक हकूक और राज्य की परिसम्पत्तियों की खुली लूट का उल्लेख करते हुए सरकार पर जमकर हमला बोला। मोहित डिमरी ने कहा कि समिति लंबे समय से प्रदेश में सशक्त भू-कानून और मूल निवास की मांग कर रही है। सशक्त भू-कानून नहीं होने से उत्तराखंड की शांत वादियां अपराध का अड्डा बन गई हैं। प्रदेश में ड्रग्स माफिया, भू-माफिया, खनन माफिया गोरखधंधे कर रहे हैं। इसलिए उत्तराखंड में भी हिमालयी राज्य हिमाचल प्रदेश की तर्ज पर सशक्त भू-कानून लागू करने की जरूरत है। कहा कि उत्तराखंड की जनता जल्द ही नहीं जागी तो भविष्य में प्रदेश दयनीय स्थिति में पहुंच सकता है। इसके लिए हम सबको मिलकर आवाज उठानी होगी।
मोहित डिमरी ने अपने संबोधन में उत्तराखण्ड में सशक्त भू कानून को तुरंत लागू करने की मांग करते हुए सरकार की नीयत पर सवाल उठाये। उन्हांेने कहा कि गैरसैण में आयोजित पिछले विधान सभा सत्र के दौरान हमने सोचा था कि शायद सरकार सशक्त भू-कानून पर विधेयक लेकर आयेगी लेकिन वह विधानसभा सत्र, जनअपेक्षाओं की अनदेखी कर विधायकों के वेतन बढ़ाने के लिए बुलाया गया था। उन्होंने कहा कि राज्य में उत्तराखण्ड के संसाधनों की खुली लूट हो रही है और सरकार सोयी हुई है। डिमरी ने अपने संबोधन में अंकिता भंडारी हत्याकांड की बात भी उठायी। उन्होंने सरकार से दोषियों को फांसी देने और तथाकथित वीवाईपी नाम बताने की मांग की। लुसून टोडरिया ने कहा कि मूल निवास और सशक्त भू कानून का जो विरोध करेगा उसे उत्तराखण्ड से खदेड़ने में भी हम देर नहीं लगायेंगे। दोनो युवा नेताओं ने रैली में आये हुये लोगों से सतत् आन्दोलन चलाने का भी आह्वान किया।
आईडीपीएल से सुबह करीब 11-30 बजे आरंभ हुयी रैली में ऋृषिकेश, डोईवाला, श्यामपुर, रायवाला, हरिपुर, हरिद्वार, रूड़की, देहरादून आदि से बड़ी संख्या में आन्दोनकारी शामिल हुए और तपती दोपहरी में उन्होंने त्रिवेणीघाट तक पैदल मार्च किया। रैली में रूड़की से उत्तराखण्ड राज्य आन्दोलनकारी संघर्ष समिति के अध्यक्ष हर्ष प्रकाश काला के नेतृत्व में लोग पहुंचे थे तो वहीं हरिद्वार से पहाड़ी महासभा के अध्यक्ष तरूण व्यास और सचिव जसवंत बिष्ट के नेतृत्व में भी बसों और निजी वाहनों से लोग रैली में शामिल होने के लिए पहुंचे थे। देहरादून से राज्य आन्दोलनकारी मनोज ध्यानी और सुधीर बडोला पहुंचे थे इसी तरह से आस-पास के विभिन्न सामजिक संगठनों के प्रतिनिधियों ने भी रैली में सिरकत की। रैली में शामिल महिलाएं और युवा ‘उत्तराखण्ड मांगे-मूल निवास और भू कानून’ तथा मडुआ झंवरा खायेंगे, उत्तराखण्ड बचायेंगे जैसे नारे लगाते हुए स्लोगन लिखी हुई तख्तियां और बैनर लिए रैली में चल थे। वे सशक्त भूकानून के समर्थन में लगातार नारेबाजी कर रहे थे। करीब 3 कि0मी0 पैदल चलने के बाद रैली त्रिवेणीघाट पहुंच कर सभा में परिवर्तित हो गयी।
इससे पूर्व हरिद्वार से ऋषिकेश जा रही पहाड़ी महासभा के मूल-निवास, सशक्त भू-कानून समर्थकों की बस को नेपाली फार्म फ्लाईओवर पर पुलिस द्वारा बेरिकेटिंग लगाकर रोके जाने से एक बार माहौल बिगड़ गया था। आन्दोलनकारी बसों से उतर कर सरकार के विरूद्ध नारेबाजी करने लगे। एक पुलिस कर्मी द्वारा बस की चाबी ले जाने पर काफी देर तक हंगामा होता रहा। कुछ लोग सड़क पर धरना देकर बैठ गये। जिस कारण हरिद्वार से देहरादून और ऋृषिकेश जा रहे वाहनों का जाम लग गया। मौके पर मौजूद एक सब-इंस्पेक्टर द्वारा जब बस की चाबी वापिस कर उन्हें रैली स्थल आईडीपीएल की जाने दिया, तब कहीं जाकर आन्दोलनकारियों ने सड़क खाली की और ट्रैफिक सामान्य हुआ।
भू कानून मूल निवास स्वाभिमान रैली में हरिद्वार से सरिता पुरोहित, मीरा रतूड़ी, जगत सिंह रावत, सोम प्रकाश शर्मा, तरुण जोशी, योगेंद्र नेगी, कोमल रौथाण, सुंदर सिंह मनराल, डॉक्टर मयंक पोखरियाल, ओम प्रकाश ढोंडियाल, विनोद प्रकाश शर्मा, जगमोहन सिंह नेगी, सरोजिनी जोशी, मंगली रावत,अजब सिंह चौहान, विष्णु दत्त सेमवाल, दीपक पाण्डेय, दीपक जखमोला, रितेश नौडियाल, शिवांषु शर्मा, नवदीप रावत, दुर्गेश, अजय नेगी, भोपाल सिंह बिष्ट, मनोज रावत, लता जोशी,अतुल गुंसाईं, भास्कर मिश्रा, रवि बाबू शर्मा आदि शामिल रहे