Wednesday, October 22, 2025
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आपदा में चमत्कार: जाको राखे साइयां मार सके ना कोई.. कुंवर सिंह की बची जान

जिले के नंदानगर इलाके में कुदरत ने ऐसा कहर बरपाया कि कई लोग जिंदा ही दबे गए। कई लोग खुशकिस्मती से बच गए, लेकिन कुछ की सांसें मलबे की नीचे थम गई। इनमें एक शख्स ऐसा भी है, जो 16 घंटे के बाद मलबे से जिंदा बाहर निकला, लेकिन शख्स की जान तो बच गई, लेकिन अपनी पत्नी और दो बेटों को नहीं बचा पाए। बताया जा रहा है कि वो अभी भी मलबे में दबे हैं, जिन्हें निकालने का प्रयास जारी है।  एक कहावत है कि जाको राखे साइयां मार सके ना कोई.. ऐसा ही कुछ आपदाग्रस्त नंदानगर के कुंतरी लगा फाली में देखने को मिला। जहां मलबे में दबा कुंवर सिंह 16 घंटे बाद जीवित निकला है, जो किसी बड़े चमत्कार से कम नहीं है। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय लोगों के प्रयासों से 16 घंटे से मलबे में दबे कुंवर सिंह को जीवित बाहर निकाला गया है।

खुशकिस्मती से कुंवर सिंह तो बच गए, लेकिन उनकी बदकिस्मती भी देखिए, उनके दो बेटे और पत्नी अभी भी मलबे में दबे हैं। कुंवर सिंह को तो 16 घंटे बाद बचाया गया, लेकिन उनके परिवार को बचाने की कोशिशें अभी भी जारी है। कहा जा रहा है कि उनका बच पाना मुश्किल है। एसडीआरएफ के जवान कटर मशीन से छत काटकर उनके रेस्क्यू का प्रयास किया जा रहा है। वहीं, कठिन परिस्थितियों के बावजूद जवान हथौड़े और औजारों से छत तोड़कर भीतर दबे लोगों तक पहुंचने की कोशिश कर रहे हैं। जवान दिन-रात उम्मीदों को जिंदा रखने की जद्दोजहद में जुटे हुए हैं। चमोली पुलिस का कहना है कि मलबे की हर ईंट के पीछे एक जिंदगी की उम्मीद छिपी है।

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